समस्तीपुर: जिले में सोमवार की सुबह हथियारबंद बदमाशों ने विभूतिपुर में पूर्व मुखिया सुरेन्द्र कुमार सिंह और उसके सहयोगी सत्यनारायण सिंह उर्फ मंत्री की हत्या (Samastipur Crime) कर दी थी. वहीं, इस मामले को लेकर विधान परिषद और विधानसभा के नेता प्रतिपक्ष सम्राट चौधरी (Samrat Chowdhary) और विजय कुमार सिन्हा (Vijay Kumar Sinha) ने पीड़ित परिवार से मुलाकात की. इस दौरान उन्होंने नीतीश सरकार (Nitish Kumar) पर जमकर हमला बोला. बीजेपी (BJP) नेताओं ने नीतीश की सुशासन सरकार पर सवाल उठाते हुए कहा कि सरकार के विधायक और मंत्री अपराधियों को संरक्षण दे रहे हैं. प्रशासनिक अधिकारी सत्ता में बैठे लोगों के गुलाम बन गए हैं.
लॉ एंड ऑर्डर पूरी तरह से ध्वस्त- सम्राट चौधरी
सम्राट चौधरी ने कहा कि यह घटना काफी दुर्भाग्यपूर्ण है. समस्तीपुर में चौथी बार आया हूं, जो अभी स्थिति है वह गड़बड़ है. लॉ एंड ऑर्डर का पूरा प्रॉब्लम है. समस्तीपुर मामले में जेडीयू के पूर्व विधायक का नाम आया है. सरकार से मांग करता हूं कि तुरंत इस पर कार्रवाई होनी चाहिए. आखिर इस अपराध में कौन हैं? इसकी जांच पूरी होनी चाहिए. 48 घंटे बीत गए हैं कोई कार्रवाई अभी तक नहीं हुई है.
समस्तीपुर को गुंडों का राज- विजय कुमार सिन्हा
आगे विधानपरिषद नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि पुलिस को भी कहा है कि इनके घरों को ध्वस्त कीजिए, अपराधी कोई भी हो बचना नहीं चाहिए. नीतीश कुमार का राजनीतिक इकबाल खत्म हो चुका है. इस मामले में राजनीतिक दबाब नहीं होना चाहिए. मामला पूर्व विधायक से जुड़ा हुआ है. वहीं, विधानसभा नेता प्रतिपक्ष विजय कुमार सिन्हा ने कहा कि पूरी तरह से समस्तीपुर को गुंडों के हवाले कर दिया गया है. यहां के प्रशासनिक पदाधिकारी पूरी तरह से सत्ता में बैठे हुए लोगों का गुलाम बने हुए हैं. सत्ता के दबाब में अपराधियों को बचाने का खेल चल रहा है. आज बिहार के आधा दर्जन से अधिक विधायक, मंत्री और सभापति उनके सचेतक बनकर बैठे हैं.
जेडीयू के पूर्व विधायक हैं अभियुक्त
नेता प्रतिपक्ष ने कहा कि पूरी तरह से प्रशासनिक कार्य में हस्तक्षेप करके अपराधियों को बचाने का खेल बिहार में चल रहा है. इस तरह के जो हस्तिनापुर के गुलाम पदाधिकारी बैठे हैं. सत्ता में आने बाद इनकी फाइल खुलेगी. स्पीडी ट्रायल चलाकर अपराधियों पर कारवाई कर उनकी संपति को जब्त कर पीड़ित परिवार को मुआवजा सरकार को देनी चाहिए. बता दें कि इस मामले में चार दिन बीत जाने के बाद भी पुलिस को अभी तक कोई बड़ी सफलता नहीं मिली है. इस मामले में विभूतिपुर के जेडीयू के पूर्व विधायक राम बालक सिंह सहित छह लोगों को नामजद अभियुक्त बनाया गया है.