
श्रवण आकाश, खगड़िया की कलम से
सिक्किम में हुए सड़क दुघर्टना में खगड़िया के लाल जेसीओ चंदन कुमार मिश्र के शहीद होने पर शहादत की खबर से परबत्ता के विभिन्न क्षेत्रों के साथ ही साथ पुरे खगड़िया में मातमी छाई हुई हैं। बहरहाल रविवार को उनका अंतिम संस्कार राजकीय सैनिक सम्मान के साथ बहुचर्चित उत्तरवाहिनी अगुआनी गंगा घाट पर सैनिक सम्मान के साथ संपन्न हुई। रविवार सुबह गांव से काफी संख्या में दूर दराज के लोग भी ट्रैक्टर-ट्राॅली से पहुंचकर गोगरी बाईपास, मड़ैया बाजार, शहीद कैप्टन आनंद चौक, परबत्ता बाजार, सिराजपुर, श्रीरामपुर ठूठ्ठी, डुमरिया बुजुर्ग, अगुवानी बस स्टैंड पर जाकर खड़े हो गए। तिरंगे लगे ट्रैक्टर ट्रॉली के लंबे काफिले के साथ खगड़िया के लाल शहीद चंदन कुमार का पार्थिव शरीर गांव से अगुवानी गंगा घाट ले जाया गया। इस दौरान जब तक सूरज चांद रहेगा चंदन तुम्हारा नाम रहेगा और वंदे मातरम के नारे लगाए गए। गांव की महिलाएं घरों की छत पर पहुंच गई और शहीद जवान के पार्थिव शरीर पर पुष्प वर्षा की।


जानकारी अनुसार परबत्ता प्रखंड के नयागांव पचखुट्टी के वीर पुत्र जेसीओ चंदन कुमार का पार्थिव शरीर उनके गृह जिला खगड़िया के माॅडल थाना गोगरी में प्रवेश करते ही पुरे खगड़िया जिला वासी अंतिम दर्शन को हजारों की संख्याओं में जुट गए। इसके पश्चात जिला प्रशासन के आदेशानुसार प्रशासनिक व्यवस्था चुस्त – दुरुस्त कर जेसीओ चंदन कुमार के पैतृक गांव नयागांव के लिए चल पड़े और वहीं साथ में कांग्रेस एम.एल.सी राजीव कुमार, विधायक प्रतिनिधि ध्रुव शर्मा समेत विभिन्न राजनैतिक दलों के लोग भी शहीदों के अंतिम यात्रा में शामिल दिखें।


वही पूछताछ में शहीद जेसीओ चंदन कुमार के परिजनों ने बताया कि उनका नानी घर मुंगेर जिले के बागेश्वरी खड़गपुर में स्वर्गीय जय प्रकाश झा के यहां है, वो अपनी छुट्टियां मनाने नानी घर भी लगातार आया जाया करते थे। बीते 8 मार्च 2006 को नवगछिया जिले के खरीक प्रखंड अंतर्गत रतनपुरा गांव में उनकी शादी डॉली मिश्रा के साथ हिंदू रीति रिवाज के साथ संपन्न हुई थी। इतना ही नहीं 1999 ई० में वे नयागांव के हीं श्रीकृष्ण उच्च विद्यालय हाई स्कूल से ही दसवीं की पढ़ाई किया था और 2001 ई० में फर्स्ट जॉइनिंग नासिक में किया था। वही वर्तमान समय में वह अपनी 8 वर्षीया पुत्री आराध्या मिश्रा और 7 वर्ष पुत्र मयंक कुमार को छोड़ गए। इसके साथ ही साथ बताते चलें कि उनके पिता डाक्टर दिनेश कुमार मिश्र ग्रामीण चिकित्सक हैं। इसके साथ ही साथ उन्होंने कहा कि मैं अपने पौते को भी सेना में भेजूंगा। सिक्किम सड़क हादसे में शहीद विकास कुमार का पार्थिव शरीर रविवार को सेना के जवानों द्वारा विशेष वाहन में उनके पैतृक गांव लाया गया। पार्थिव शरीर पर हजारों की भीड़ ने पुष्प अर्पित कर शहीद को श्रद्धांजलि अर्पित की और मां भारती के सपूत विकास अमर रहे के नारे लगाए। गांव के खेल स्टेडियम में गमगीन माहौल में शहीद का राजकीय सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया।


वहीं जेसीओ चंदन कुमार मिश्र का पार्थिव शरीर नयागांव उनके आवास पर पहुंच माता मंजू देवी और पिता डॉक्टर दिनेश कुमार और उनके छोटे भाई हिमांशु कुमार समेत परिजनों और रिश्तेदारों ने अंतिम दर्शन कर चित्कार पार फुट फुटकर रोए और वहीं इस दृश्य को देख मौजूद लोगों के भी आंखें से पानी टपक पड़े थे। इसके पश्चात बहुचर्चित उत्तरवाहिनी अगुआनी गंगा घाट पर राजकीय सैनिक सम्मान के साथ अंतिम संस्कार किया गया। जहां जिलाधिकारी डॉक्टर आलोक रंजन घोष, एसडीओ अमन कुमार सुमन, एसडीपीओ मनोज कुमार, परबत्ता थानाध्यक्ष धर्मेंद्र कुमार पाल, मुखिया संघ के अध्यक्ष बालकृष्ण शर्मा, सियादतपुर अगुआनी पंचायत की मुखिया स्मृति कुमारी, पुर्व जिला परिषद सदस्य शैलेंद्र कुमार शैलेश आदि शहीद के पैतृक गांव पहुंच कर शोक संतप्त परिवार को ढ़ाढस बंधाया।


साथ ही साथ शहीद जवान जेसीओ चंदन कुमार मिश्र के घर पर ग्रामीणों की भीड़ जुटी थी और हर शख्स शोक संतप्त परिवार के साथ खड़ा था। वहीं ग्रामीण युवा राहुल कुमार, दीपक कुमार, बिक्रम कुमार, गौतम कुमार, सौरभ कुमार, सुरज भान, रितेश कुमार, शुभम कुमार, प्रिंस कुमार आदि ने ने बताया कि कैप्टन आनंद देश का जाबांज बेटा था, जिन्होंने अपने कर्म पथ पर शहीद होकर वीर गति को प्राप्त किया। इनके इस घटनाक्रम की सुचना पर दुख जता शोकाकुल परिवार को ईश्वर से दुख सहने की शक्ति प्रदान करने को लेकर ईश्वर से दुआ किया और बताया कि बीते कुछ महीनों पुर्व हीं वह अपने गांव से सिक्किम ड्यूटी पर गए थे। वो जब भी आते थे तो हम सभी युवाओं से प्रेमपुर्वक व मित्रतापूर्वक हमलोग से अवश्य मिलते थे। इसके साथ ही साथ भाजपा नेता मिथलेश कुमार, निर्भय मिश्रा, गौतम पोद्दार, अक्षय मिश्रा समेत दर्जनों की संख्याओं में पुलिस बल और हजारों हजार की संख्याओं में ग्रामीणों का जमावड़ा शहीद कैप्टन आनंद कुमार के अंतिम दर्शन को उमड़ी पड़ी थी।


वहीं इधर एम एल सी राजीव कुमार ने कहा कि भारतीय सेना के जवान मेरे गृह क्षेत्र के नयागांव गांव निवासी शहीद वीर सैनिक चंदन कुमार मिश्र की सेना में सेवा के दौरान हुई मृत्यु की घटना बहुत दुःखद है। माँ भारती के लाल को उनके पैतृक गांव में श्रद्धांजलि अर्पित किया और भगवान से उनकी आत्मा को शांति एवं अपने श्रीचरणों में स्थान दें यही प्रार्थना है। शहीद वीर चंदन कुमार मिश्र कि प्रतिमा मेरे निधि से जल्द ही लगाई जायेगी। ताकि लोगों के जेहन में सदा जीवित रहें। जबकि वहीं शहीद चंदन कुमार मिश्र के सहादत को लेकर परबत्ता जदयू विधायक डॉक्टर संजीव कुमार ने कहा कि इनका निधन अत्यंत दु:खद, दुर्भाग्यपूर्ण व हृदयविदारक हैं। यह हम सभी के लिए एक अपूरणीय क्षति हैं। राज्य से बाहर होने के कारण मैं शामिल नही हो पाया। लेकिन फिर भी मेरी संवेदनाएं शोकाकुल परिजनों के साथ हैं। ईश्वर दिवंगत आत्मा को शन्ति दे और परिजनों को बल प्रदान करें।



इधर शहीद चंदन कुमार का पार्थिव शरीर जैसे ही अगुवानी पहूंचा, वैसे ही मौके पर मौजूद सियादतपुर अगुआनी पंचायत की मुखिया स्मृति कुमारी भावुक हो रो पड़े। उन्होंने शहीद के पार्थिव शरीर पर फूल चढाकर श्रद्धांजलि दी और कहा कि शहीद चंदन कुमार मिश्र सबको अनाथ करके चले गए। सेना के जवान जब भी शहीद होते हैं, वे सबको दर्द दे जाते हैं। सेना के जवान इस देश की आन-बान-शान होते हैं। उनकी क्षति देश की क्षति होती है। जवानों की मृत्यु की घटना बहुत दुःखद हैं, भगवान से उनकी आत्मा को शांति एवं अपने श्रीचरणों में स्थान दें यही प्रार्थना है। अंततः उन्होंने कहा कि अगुवानी की धरती धन्य हैं जो हर एक वीर सपुतों का आना और अंतिम दर्शन करने का मुझे सौभाग्य प्राप्त होती है।

